Ganpati Ji Ki Seva Lyrics | गणपति जी सेवा लिरिक्स

 Ganpati Ji Ki Seva Lyrics | गणपति जी सेवा लिरिक्स

 

 गणपति जी सेवा लिरिक्स

गणपति की सेवा मंगल मेवा,
सेवा से सब विघ्न टरैं।
तीन लोक के सकल देवता,
द्वार खड़े नित अर्ज करैं॥
गणपति की सेवा मंगल मेवा...॥

रिद्धि-सिद्धि दक्षिण वाम विराजें,
अरु आनन्द सों चमर करैं।
धूप-दीप अरू लिए आरती
भक्त खड़े जयकार करैं॥
गणपति की सेवा मंगल मेवा...॥

गुड़ के मोदक भोग लगत हैं
मूषक वाहन चढ्या सरैं।
सौम्य रूप को देख गणपति के
विघ्न भाग जा दूर परैं॥
गणपति की सेवा मंगल मेवा...॥

भादो मास अरु शुक्ल चतुर्थी
दिन दोपारा दूर परैं।
लियो जन्म गणपति प्रभु जी
दुर्गा मन आनन्द भरैं॥
गणपति की सेवा मंगल मेवा...॥

अद्भुत बाजा बजा इन्द्र का
देव बंधु सब गान करैं।
श्री शंकर के आनन्द उपज्या
नाम सुन्यो सब विघ्न टरैं॥
गणपति की सेवा मंगल मेवा...॥

आनि विधाता बैठे आसन,
इन्द्र अप्सरा नृत्य करैं।
देख वेद ब्रह्मा जी जाको
विघ्न विनाशक नाम धरैं॥
गणपति की सेवा मंगल मेवा...॥

एकदन्त गजवदन विनायक
त्रिनयन रूप अनूप धरैं।
पगथंभा सा उदर पुष्ट है
देव चन्द्रमा हास्य करैं॥
गणपति की सेवा मंगल मेवा...॥

दे शराप श्री चन्द्रदेव को
कलाहीन तत्काल करैं।
चौदह लोक में फिरें गणपति
तीन लोक में राज्य करैं॥
गणपति की सेवा मंगल मेवा...॥

उठि प्रभात जप करैं ध्यान कोई
ताके कारज सर्व सरैं
पूजा काल आरती गावैं
ताके शिर यश छत्र फिरैं॥
गणपति की सेवा मंगल मेवा...॥

गणपति की पूजा पहले करने
सेकाम सभी निर्विघ्न सरैं।
सभी भक्त गणपति जी के
हाथ जोड़कर स्तुति करैं॥
गणपति की सेवा मंगल मेवा...॥

 Ganpati Ji Ki Seva Lyrics



Ganpati Ki Seva Mangal Meva,
Seva Se Sab Bighna Tare.

Tin Lok Taintis devta,
Dwar Khade Sab Arj Kare.

Riddhi Siddhi Dakshin Vaam Viraje,
Aru Aanand So Chavar Kare.

Dhup Deep Aur Liye Aarti,
Bhakt Khade Jaykar Kare.

Gud Ke Modak Bhog Lagat Hai,
Mushak Vaahan Chadha Karen.

Soumyarup Seva Ganpati Ki,
Vighna Bhagja Dur Pare.

Bhado Maas Aur Shukla Chaturthi,
Din Dopara Pur Pare.

Liyo Janm Ganpati Prabhuji Ne,
Durga Man Aanand Bhare.

Adbhut Baja Baja Indra Ka,
Dev Vadhu Jahan Gaan Kare.

Shri Shankar Ke Aanand upjyo,
Naam Sunya Sab Vighna Tare.

Aan Vidhata Baithe Aasan,
Indra Apsra Nritya Kare.

Dekh Ved Brahmaji Jako,
Vighna Vinashak Naam Dhare.

Ekdant Gajvadan Vinayak,
Trinayan Rup Anoop Dhare.

Pagthambha Sa Udar Pusht Hai,
Dekh Chandrma Haasya Kare.

De Shrap Shri Chandradev Ko,
Kalahin Tatkal Kare.

Choudah Lok Me Fire Ganpati,
Tin Lok Me Rajya Kare.

Uth Prabhat Jo Aarti Gaave,
Taake Sir Yash Chatra Phire.

Ganpati Ji Ki Puja Pahle Karni,
Kaam Sabhi nirbighna Kare.

Shri Ganpati Ji Ki
Haath Jodkar Stuti Kare.

Ganpati Ki Seva Mangal Meva,
Seva Se Sab Vighna Tare.

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